कीन्ही दया तहं करी सहाई। नीलकण्ठ तब नाम कहाई॥ किया उपद्रव तारक भारी। देवन सब मिलि तुमहिं जुहारी॥ त्राहि त्राहि मैं नाथ पुकारो। यहि अवसर मोहि आन उबारो॥ धर्म संग्रह श्रीरामचरितमानस मध्यप्रदेश काम की बात श्रीराम शलाका एक्सप्लेनर क्राइम रामायण महाभारत फनी जोक्स चुटकुले अर्थ- हे गिरिजा पति हे, दीन https://jaibhole.co.in/home/Shree-Shiv-Chalisa